19/08/2003 में अटल जी का एक भाषण था जिसमे वो प्रधान मंत्री की हैसियत से नेता विपक्ष को जवाब देते है की राजनीतिक क्षेत्र में जो आपके साथ कंधे से कन्धा मिलकर चलते हो विचारो के मतभेद होंगे | लड़िये पर सभ्य तरीके से लड़िये और इस देश की मर्यादाओ का ध्यान रखिये । इसको देखकर तो यही लगता हैं की आजकल के दौर में राजनीतिक स्तर कितना गिर चूका लोग जरा जरा सी बात में गाली पर उतर आते हैं चाहे वो नेता हो या फिर उनके चेले चपाड़ी । लोकतान्त्रिक देश में रहते हैं तो लोकतान्त्रिक प्रक्रिया से लड़िये हिंसा किसी भी रूप में सही नही ठहराई जा सकती हैं ।
उन अंधभक्तो को समर्पित जो बिना सर पैर के लड़ने आ जाते |
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